IND vs ENG: इस समय भारत और इंग्लैंड के बीच 5 मैचों की टेस्ट सीरीज खेली जा रही है. 25 जनवरी से शुरू हुई यह सीरीज 11 मार्च तक खेली जाएगी. इस सीरीज में अब तक तीन मुकाबले खेले गए हैं और इस दौरान दोनों ही टीमें के बीच बराबरी की टक्कर देखने को मिली है. अब सीरीज के आखिरी बचे हुए दो मुकाबलों में भी रोमांचक जंग देखने को मिल सकती है. इस सीरीज के चौथे मुकाबले से पहले आज हम आपको इन दोनों टीमों के बीच खेले गए टेस्ट क्रिकेट के पहले मैच के बारे में बता रहे हैं.
भारतीय टीम ने अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में इंग्लैंड के खिलाफ मुकाबले के साथ ही प्रवेश किया था. भारतीय टीम ने अपना पहला टेस्ट मैच इंग्लैंड क्रिकेट टीम के खिलाफ ही खेला था. अपने डेब्यू टेस्ट मैच के लिए भारतीय टीम ने इंग्लैंड का दौरा किया था. भारतीय टीम ने जून 1932 यानी तकरीबन 91 साल पहले इंग्लैंड का दौरा किया था. उस समय भारत अंग्रेजों के अधीन था. भारतीय टीम के पहले कप्तान सीके नायडू थे और लॉर्ड्स के ऐतिहासिक ग्राउंड में उनके सामने डगलस जार्डिन के नेतृत्व वाली इंग्लैंड टीम मौजूद थी. इस मुकाबले में इंग्लैंड के कप्तान डगलस जार्डिन ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी का निर्णय किया था.
मोहम्मद निसार ने किया गेंद से कमाल –
इस मुकाबले में इंग्लिश टीम के कप्तान डगलस (79 रन) और विकेटकीपर बल्लेबाज लेस अमिस (65 रन) के अर्धशतकों के दम पर पहली पारी में 259 रन बोर्ड पर लगाए थे. इस दौरान भारतीय गेंदबाज मोहम्मद निसार ने सबसे ज्यादा 5 विकेट झटके थे. इसके अलावा अमर सिंह और सीके नायडू ने 2-2 विकेट अपने नाम किए थे. कप्तान नायडू ने यहां आलराउंडर प्रदर्शन किया था. नायडू ने भारतीय टीम की पहली पारी में बल्लेबाजी के दौरान 40 रन का योगदान भी दिया. कप्तान नायडू के अलावा नाओमल जुमल (33 रन) और सैयद वाजिर अली (31 रन) ने भी जुझारू पारी खेली थी. इन खिलाड़ियों के अलावा अन्य कोई भी बल्लेबाज पिच पर ज्यादा देर तक नहीं टिक सका और पहली पारी में पूरी भारतीय टीम 189 रन पर सिमट कर रह गई. इस तरह पहली पारी के आधार पर इंग्लिश टीम को 70 रन की हासिल हुई.
भारतीय बल्लेबाजों ने किया निराश –
इसके बाद इंग्लिश टीम ने दूसरी पारी में भी शानदार बल्लेबाजी का नजारा पेश किया. इंग्लिश कप्तान डगलस ने (85 रन) और एडी पेंटर ने (54 रन) की अर्धशतकीय पारी खेली. इंग्लिश टीम ने दूसरी पारी में 8 विकेट के नुकसान पर 275 रन पर घोषित की. दूसरी पारी में भारतीय टीम के लिए जहांगीर खान ने सबसे ज्यादा 4 विकेट अपने नाम किए. इस तरह भारतीय टीम के सामने 346 रन का विशाल लक्ष्य था, जिसके जवाब में भारतीय टीम 187 पर ही आलआउट हो गई. भारतीय टीम के लिए अमर सिंह (51 रन) के अलावा अन्य सभी बल्लेबाजों ने अपने प्रदर्शन से निराश किया. इस तरह भारतीय टीम को अपने पहले टेस्ट मैच में 158 रन से हार का सामना करना पड़ा. इसके बाद भारतीय टीम को अगले 30 सालों तक इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट मैचों में जीत नसीब नहीं हुई. पहली बार भारतीय टीम ने साल 1962 में इंग्लिश टीम को टेस्ट मैच शिकस्त दी थी.