Chaitra Navratri 2024: चैत्र नवरात्रि का पर्व 9 अप्रैल यानी मंगलवार से शुरु होकर 17 अप्रैल को समाप्त होने जी रही हैं. नौ दिनों में मां दुर्गा के 9 स्वरुपों की पूर्जा अर्चना की जाती है. इसके बाद अष्टमी या नवमी को कन्या पूजन करने मां के भक्त अपना व्रत तोड़ते हैं. इस दौरान मां भक्तों के घर विराजमान होती हैं ऐसे में मान्यता है कि चैत्र नवरात्रि के नौ दिनों में कुछ उपाय किया जाए जिसके कारण घर का वास्तुदोष भी दूर होता है. तो आइए इस अर्टिकल में हम कुछ वास्तुदोष के बारे में बताने जा रहे हैं जिन्हें आप नवरात्रि शुरु होने से पहले जरूर निपटा ले ताकि आपके जीवन में किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े तो आइए जानते हैं…
ध्यान देने वाली बात
सबसे पहले अपने घर की साफ- सफाई अवश्य कर लें और पुराने कपड़े, किताबें, फर्नीचर आदि को घर से बाहर कर दें यानि जो समान आपके काम का न हो उसे बाहर कर दे बिना मतलब के घर में न रखें. इसके अलावा नवरात्रि आ जाने दिवारों पर पानी छिड़कें जिसके साथ सुख- समृध्दि बनी और साख ही दान भी दे. चावल के साथ लाल या पीले रंग का उपयोग करके स्वास्तिक चिन्ह बनाएं. इस नवरात्रि के दौरान मुख्य प्रवेश द्वार पर स्वास्तिक बनाना अत्यधिक शुभ होता है और घर में रहने वालों के लिए सौभाग्य और समृद्धि को आकर्षित करता है.
घर के द्वार में आम के पत्तों का गुच्छा
नवरात्रि शुरु होने के दौरान घर के मुख्य द्वार पर तोरण लगाना भी एक अच्छा विचार माना जाता है तो घर के मुख्य द्वार पर आम के पत्तों का गुच्छा रखें ऐसा करने से माना जाता है कि घर में समृध्दि, उन्नति और खुशहाली आती है. क्योंकि आम की पत्तियां गेवी लक्ष्मी से जुड़ी हुई हैं जो धन और सेहत को आमंत्रित करती है.
दुर्गा मां की स्थापना
सबसे पहले तो मां दुर्गा के स्थान को अच्छे से साफ करें और फिर इसके बाद देवी दुर्गा की मूर्ति कमके के उत्तर- पुर्व कोने में स्थापित करें. इसके साथ हि मूर्तियां हमेशा ऊंचे स्थान पर रखें. जैसे कि लकड़ी की पूजा चौकी, कम से कम पांच फुट ऊंची हो. पूजा सामग्री को दक्षिण-पूर्व दिशा की ओर रखें, जिससे देवी की कृपा बनी रहती है.
पूजा करते समय ध्यान देने वाली बात
नवरात्रि में पूजा करने के दौरान व्यक्ति का मुख पूर्व की ओर होना चाहिए और प्रार्थना करते समय उत्तर कि ऐसा करने से ऐशा माना जाता है कि यह सफलता और साहस को आकर्षित करने में मदद करता है. पहले दिन मां दुर्गा के मंदिर में साफ पानी और फूलों से भरा एक कलश रखें, त्योहार के आखिरी दिन पूरे घर में पवित्र जल छिड़कें, जिससे व्यक्ति की आर्थिक स्थिति मजबूत होती है. कलश संचार को बेहतर बनाने में मदद करता है और सद्भाव को बढ़ावा देता है. सकारात्मक प्रभाव के लिए रसोई में कलश भी रख सकते हैं. वास्तु के अनुसार मंदिर में अखंड ज्योति (घी का दीपक) जरूर जलाएं. यह सौभाग्य और आंतरिक शांति को आकर्षित करने में मदद करता है.