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‘घर में पत्नी को कब तक देखते रहोगे, संडे को भी ड्यूटी करो’; ऐसा कहने वाले कौन है बिजनेसमैन सुब्रह्मण्यन?

ऑफिस में काम के घंटे और वीकेंड की छुट्टी के नियमों से हम सभी परिचित हैं. आमतौर पर, हफ्ते में छह दिन काम करने के बाद रविवार को आराम का दिन माना जाता है. लेकिन सोचिए, अगर हफ्ते के सातों दिन काम करना पड़े तो क्या होगा? इसी विषय पर कारोबारी दुनिया में बहस छिड़ी हुई है.

यह बहस तब शुरू हुई जब इंफोसिस के सह-संस्थापक नारायण मूर्ति ने हफ्ते में 70 घंटे काम करने की वकालत की. उनके बयान पर गौतम अडानी समेत कई प्रमुख हस्तियों ने अपनी राय रखी। अब, एक और कारोबारी एस.एन. सुब्रह्मण्यन ने हफ्ते में 90 घंटे काम करने और रविवार को भी काम करने की वकालत की है.

सुब्रह्मण्यन का बयान

एक इंटरव्यू में लार्सन एंड टूब्रो के सीईओ एस.एन. सुब्रह्मण्यन ने कहा, ‘सच कहूं तो मुझे अफसोस है कि मैं आपसे रविवार को काम नहीं करा पा रहा. अगर आप रविवार को भी काम करते, तो मुझे खुशी होती. क्योंकि मैं खुद रविवार को भी काम करता हूं.’ सुब्रह्मण्यन के इस बयान ने सोशल मीडिया पर विवाद खड़ा कर दिया. उनके बयान का वीडियो वायरल होने के बाद लोग अपनी-अपनी प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं.

सोशल मीडिया की प्रतिक्रियाएं

एक यूजर ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर तंज कसते हुए लिखा, “मैं इंतजार कर रहा हूं कि कोई कहे कि हफ्ते में 168 घंटे काम करो. वहीं, एक अन्य यूजर ने लिखा, “लार्सन एंड टूब्रो में तो कोई चार घंटे भी काम नहीं करता. नारायण मूर्ति द्वारा 70 घंटे काम करने की सलाह के बाद से यह बहस शुरू हुई है कि क्या आधुनिक समय में इतना अधिक काम करना व्यावहारिक या नैतिक है. सुब्रह्मण्यन के 90 घंटे काम करने की वकालत ने इस चर्चा को और गर्म कर दिया है.

Sagar Dwivedi

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