Israel-Iran War : ईरान और इजरायल मध्य पूर्व के ऐसे देश हैं, जिनके बीच तनाव और टकराव का इतिहास काफी पुराना है. इजरायल और ईरान के मिसाइल और ड्रोन हमले से पैदा हुए हालात पर भारत ने गहरी चिंता व्यक्त की है. भारत की चिंता के कारण इन देशों में रहने वाले भारतीयों की सुरक्षा के साथ-साथ भू-राजनीतिक और आर्थिक हित भी हैं. इस टकराव के चलते भारत की आर्थिक पर भी असर हो सकता हैं. इन देशों में भारत के रहने वाले लोग तकरीबन 30 हजार हैं. इनकी सुरक्षा करना भारत सरकार की सबसे बड़ी प्राथमिकता है. हालांकि भारतीय दूतावास ने कहा है कि वह लोगों से संपर्क में जुड़े हुए हैं.
भारत को क्या नुकसान होगा?
ईरान और इजरायल के बीच युद्ध होने से भारत की आर्थिक संबंधों पर भी असर पड़ सकता है. ईरान के साथ भारत की बढ़ती आर्थिक भागीदारी, विशेषकर चाबहार बंदरगाह विकास जैसी परियोजनाएं उधर में लटकी हुई है.
भारत है किसके साथ?
भारत ईरान और इजरायल दोनों मुल्क के साथ अच्छे संबंध बनाए रखना चाहता है. भारत का संबंध ईरान से मजबूत रहे हैं. दोनों मुल्क के बीच बड़े स्तरीय लेन-देन के संबंध और समझौते हैं. इसी तरह से रक्षा और प्रौद्योगिकी क्षेत्रों में इजरायल के साथ भारत की साझेदारी बढ़ी है.
चुनाव पर कितना पड़ेगा असर?
इजरायल और ईरान के युद्ध से भारत के चुनाव पर भी असर पड़ेगा. आर्थिक हित में समझें तो इस युद्ध का असर सीधा महंगाई पर पड़ने वाला है. पेट्रोल -डीजल के दाम तेज हो जाएंगे. बड़ी बात ये है कि अगर महंगाई बढ़ेगी तो इंडिया गठबंधन इसे बड़ा मुद्दा बनाएगा.